राहुल गांधी का चुनाव आयोग पर निशाना, मतदाता सूची और CCTV फुटेज की मांग

Published on: 08 Jun 2025 | Author: Gyanendra Sharma
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और विपक्ष के प्रमुख चेहरों में से एक राहुल गांधी ने हाल ही में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट के जरिए भारत के चुनाव आयोग पर तीखा हमला बोला है. उन्होंने चुनाव आयोग से हाल के लोकसभा और विधानसभा चुनावों में पारदर्शिता सुनिश्चित करने और गंभीर सवालों का जवाब देने की मांग की है. इस पोस्ट ने देश की राजनीति में एक नई बहस को जन्म दे दिया है, जिसमें चुनावी प्रक्रिया की विश्वसनीयता और निष्पक्षता पर सवाल उठाए जा रहे हैं.
राहुल गांधी ने अपनी पोस्ट में लिखा, प्रिय चुनाव आयोग आप एक संवैधानिक संस्था हैं. मध्यस्थों को बिना हस्ताक्षर के टाल-मटोल वाले नोट जारी करना गंभीर सवालों का जवाब देने का तरीका नहीं है. उन्होंने आगे कहा कि यदि चुनाव आयोग के पास छिपाने के लिए कुछ नहीं है तो उसे उनके द्वारा उठाए गए सवालों का स्पष्ट जवाब देना चाहिए. इसके साथ ही उन्होंने मांग की कि आयोग सभी राज्यों के हालिया लोकसभा और विधानसभा चुनावों की डिजिटल मतदाता सूची सार्वजनिक करे और महाराष्ट्र के मतदान केंद्रों पर शाम 5 बजे के बाद की सीसीटीवी फुटेज जारी करे. राहुल गांधी ने जोर देकर कहा कि टाल-मटोल की नीति से आयोग की विश्वसनीयता को नुकसान पहुंचेगा और केवल सच बोलने से इसकी साख बची रह सकती है.
Dear EC,
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) June 7, 2025
You are a Constitutional body. Releasing unsigned, evasive notes to intermediaries is not the way to respond to serious questions.
If you have nothing to hide, answer the questions in my article and prove it by:
• Publishing consolidated, digital, machine-readable…
राहुल गांधी का यह बयान ऐसे समय में आया है जब हाल के चुनावों खासकर महाराष्ट्र में हुए विधानसभा चुनावों को लेकर विपक्षी दलों ने कई सवाल उठाए हैं. विपक्ष का आरोप है कि मतदाता सूचियों में अनियमितताएं मतदान प्रक्रिया में पारदर्शिता की कमी और कुछ मतदान केंद्रों पर संदिग्ध गतिविधियों ने चुनावी प्रक्रिया की निष्पक्षता पर सवाल खड़े किए हैं. राहुल गांधी ने इन मुद्दों को लेकर पहले भी अपने लेखों और बयानों में चुनाव आयोग से जवाब मांगा था लेकिन उनकी ताजा पोस्ट में आयोग पर सीधा हमला और ठोस कार्रवाई की मांग ने इस मुद्दे को और गंभीर बना दिया है.
पारदर्शिता पर जोर
राहुल गांधी ने अपनी पोस्ट में डिजिटल मतदाता सूची और सीसीटीवी फुटेज जैसे ठोस सबूतों की मांग की है. उनका कहना है कि ये कदम न केवल चुनावी प्रक्रिया में पारदर्शिता लाएंगे बल्कि जनता के बीच आयोग की विश्वसनीयता को भी मजबूत करेंगे. महाराष्ट्र में हाल के विधानसभा चुनावों में कुछ विपक्षी नेताओं ने मतदान के बाद देर रात तक मतगणना और अन्य गतिविधियों पर सवाल उठाए थे. राहुल गांधी की मांग इस संदर्भ में महत्वपूर्ण है क्योंकि सीसीटीवी फुटेज और मतदाता सूची जैसे दस्तावेज संदेहों को दूर करने में मदद कर सकते हैं.
राजनीतिक प्रतिक्रियाएं
राहुल गांधी के इस बयान ने विपक्षी दलों को एकजुट करने का काम किया है. कई विपक्षी नेता जैसे शिवसेना (उद्धव ठाकरे गुट) और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरद पवार गुट) के नेताओं ने भी चुनाव आयोग से पारदर्शिता की मांग का समर्थन किया है. दूसरी ओर, सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने राहुल गांधी के बयान को "निराधार" और "संवैधानिक संस्था को बदनाम करने की कोशिश" करार दिया है. बीजेपी प्रवक्ता ने कहा कि चुनाव आयोग ने हमेशा निष्पक्ष और स्वतंत्र रूप से काम किया है और विपक्ष को अपनी हार को स्वीकार करने की बजाय आयोग पर सवाल उठाने की आदत पड़ गई है.