कर्नाटक में रेलवे परीक्षा देने के लिए उतारना होगा मंगलसूत्र-जनेऊ, भड़के हिंदू संगठन; कहा-'...बर्दाश्त नहीं किया जाएगा'

Published on: 28 Apr 2025 | Author: Princy Sharma
Railway Recruit Board Exam: रेलवे विभाग के नर्सिंग सुपरिंटेंडेंट एंट्रेंस एग्जाम (28 अप्रैल से 30 अप्रैल के बीच) को लेकर नया विवाद खड़ा हो गया है. परीक्षा के लिए जारी एडमिट कार्ड में उम्मीदवारों को मंगलसूत्र, झुमके, नाक की कील, अंगूठी, कड़ा, जानवारे (जनेऊ) जैसे धार्मिक प्रतीकों और गहनों को हॉल में प्रवेश से पहले उतारने का निर्देश दिया गया.
यह विवाद तब और गरमाया जब हाल ही में कर्नाटक के कॉमन एंट्रेंस टेस्ट (CET) में भी हिंदू छात्रों से पवित्र धागे उतारने की शिकायतें आई थीं. लगातार ऐसे मामलों से धार्मिक प्रतीकों को लेकर परीक्षाओं में हो रहे व्यवहार पर सवाल उठने लगे हैं.
रेलवे विभाग ने बताया कारण
रेलवे विभाग का कहना है कि परीक्षा के दौरान सुरक्षा और नकल रोकने के लिए यह सख्त नियम बनाए गए हैं. मोबाइल फोन, ब्लूटूथ डिवाइस, घड़ी, बेल्ट, पर्स जैसी चीजों पर भी पूरी तरह से रोक है. परीक्षार्थियों का आधार लिंक्ड बॉयोमेट्रिक वेरिफिकेशन भी जरूरी किया गया है. अगर कोई उम्मीदवार नियमों का पालन नहीं करेगा, तो उसे परीक्षा से बाहर कर दिया जाएगा.
VHP ने की ये मांग
लेकिन, हिंदू संगठनों ने इस आदेश का विरोध करते हुए इसे धार्मिक स्वतंत्रता पर हमला बताया है. विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने मांग की है कि एडमिट कार्ड से तुरंत यह आदेश हटाया जाए. उनका कहना है, 'हिंदू भावनाओं को ठेस पहुंचाना बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. हिंदू बहुल देश में इस तरह की नीतियां अस्वीकार्य हैं.'
सोशल मीडिया पर भी मचा बवाल
सोशल मीडिया पर भी इस मुद्दे ने जोर पकड़ लिया है. शरण कुमार पंपवेल नामक यूजर ने फेसबुक पर एडमिट कार्ड की तस्वीरें साझा करते हुए इसे धर्म विरोधी रवैया बताया और जिला कलेक्टर और सांसदों से दखल देने की अपील की. हालांकि प्रशासन का तर्क है कि यह कदम सिर्फ सुरक्षा और निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है, मगर हिंदू संगठनों का कहना है कि मंगलसूत्र और जानवारा जैसे धार्मिक प्रतीक आस्था और पहचान से जुड़े हुए हैं और इन्हें हटाने का आदेश धार्मिक अधिकारों का हनन है.