भारत-पाकिस्तान युद्ध का कोई असर नहीं, FIIs ने भारतीय स्टॉक मार्केट में खरीद डाले इतने हजार करोड़ के शेयर

Published on: 24 Apr 2025 | Author: Sagar Bhardwaj
24 अप्रैल को विदेशी संस्थागत निवेशकों (FIIs) ने लगातार आठवें सत्र में खरीदारी जारी रखी और 8,250 करोड़ रुपये का निवेश किया, जो 27 मार्च के बाद उनकी सबसे बड़ी एकल-दिवसीय खरीदारी है. दूसरी ओर, घरेलू संस्थागत निवेशकों (DIIs) ने मुनाफावसूली करते हुए 534 करोड़ रुपये की शेयर बिक्री की. इस दिन FIIs ने 24,089 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे और 15,838 करोड़ रुपये के शेयर बेचे, जबकि DIIs ने 13,452 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे और 13,986 करोड़ रुपये के शेयर बेचे.
बाजार में उतार-चढ़ाव
इस वर्ष अब तक FIIs ने 1.45 लाख करोड़ रुपये के शेयरों की शुद्ध बिक्री की है, जबकि DIIs ने 1.97 लाख करोड़ रुपये के शेयरों की शुद्ध खरीदारी की है. 24 अप्रैल को निफ्टी 50 और सेंसेक्स ने सात सत्रों की तेजी को विराम दिया. अस्थिर समाप्ति-दिवस सत्र और FMCG क्षेत्र की बड़ी कंपनियों जैसे हिंदुस्तान यूनिलीवर, नेस्ले इंडिया और टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स के निराशाजनक नतीजों ने बाजार को नीचे खींचा. FMCG सूचकांक में एक प्रतिशत से अधिक की गिरावट दर्ज की गई.
अन्य क्षेत्रों का प्रदर्शन
निफ्टी फार्मा सूचकांक ने लगभग एक प्रतिशत की उछाल दर्ज की, जिसमें नटको फार्मा, डिविस लैबोरेटरीज और अजंता फार्मा जैसे शेयरों में 12 प्रतिशत तक की तेजी देखी गई. हालांकि, निफ्टी ऑटो, बैंक, आईटी और रियल्टी सूचकांक 0.4 से 1.4 प्रतिशत की गिरावट के साथ बंद हुए. व्यापक बाजारों में भी कमजोरी दिखी. निफ्टी मिडकैप 100 में 0.2 प्रतिशत की गिरावट आई, जबकि निफ्टी स्मॉलकैप 100 मामूली रूप से नीचे बंद हुआ.
एक्सपर्ट्स की राय
HDFC सिक्योरिटीज के प्राइम रिसर्च प्रमुख देवर्ष वकील ने कहा, "विदेशी निवेशक नकद बाजार में शुद्ध खरीदार बन गए हैं (7 अप्रैल के निचले स्तर से 21,000 करोड़ रुपये की शुद्ध खरीदारी) और सूचकांक वायदा में अपनी शॉर्ट पोजीशन को धीरे-धीरे कम कर रहे हैं. हालांकि, वे अभी भी 67 प्रतिशत शुद्ध शॉर्ट पोजीशन रखते हैं. यह बदलाव दर्शाता है कि बाजार में गिरावट के दौरान निचले स्तरों पर खरीदारी का समर्थन मिल सकता है."
Disclaimer: यह खबर केवल जानकारी के उद्देश्य से लिखी गई है. किसी भी निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार की राय जरूर लें