एविएशन मार्केट में भारत का दुनिया में डंका, जापान को पछाड़ टॉप 5 में बनाई जगह

Published on: 05 Aug 2025 | Author: Kuldeep Sharma
एक समय था जब हवाई यात्रा को भारत में विलासिता माना जाता था, लेकिन अब देश की हवाई सेवाएं तेजी से दुनिया के अग्रणी बाजारों की कतार में खड़ी हैं. 2024 में भारत ने विमानन क्षेत्र में नई ऊंचाई छूते हुए वैश्विक स्तर पर अपनी मौजूदगी को और मज़बूत कर लिया है.
IATA द्वारा जारी वर्ल्ड एयर ट्रांसपोर्ट स्टैटिस्टिक्स (WATS) के अनुसार, भारत ने 2024 में कुल 241 मिलियन हवाई यात्रियों को संभाला और इस आंकड़े के साथ वह जापान (205 मिलियन यात्रियों) से आगे निकल गया. भारत की वार्षिक वृद्धि दर 11.1% रही, जो दुनिया के कई विकसित देशों से अधिक है. इस सूची में अमेरिका पहले स्थान पर है, जहां 876 मिलियन लोग हवाई यात्रा करते हैं, उसके बाद चीन (741 मिलियन), यूके (261 मिलियन) और स्पेन (241 मिलियन) का स्थान है. भारत अब स्पेन के बहुत करीब पहुंच गया है.
मुंबई–दिल्ली रूट बना दुनिया का सातवां व्यस्ततम मार्ग
IATA की रिपोर्ट में भारत के घरेलू विमानन नेटवर्क की भी जमकर तारीफ की गई है. मुंबई से दिल्ली का हवाई मार्ग दुनिया का सातवां सबसे व्यस्त रूट बन गया है, जहां 2024 में 5.9 मिलियन यात्रियों ने उड़ान भरी. एशिया-पैसिफिक क्षेत्र के रूट्स इस सूची में हावी रहे, जिसमें दक्षिण कोरिया का जेजू–सियोल रूट पहले स्थान पर रहा (13.2 मिलियन यात्रियों के साथ)। सऊदी अरब का जेद्दाह–रियाद इकलौता गैर-एशियाई रूट था जो टॉप-10 में जगह बना सका.
प्रीमियम क्लास ट्रैवल में भी बढ़ोतरी
दुनिया भर में हवाई यात्राओं में प्रीमियम क्लास (बिज़नेस और फर्स्ट क्लास) की मांग भी बढ़ी है. 2024 में इसमें 11.8% की वृद्धि दर्ज की गई, जो इकॉनमी क्लास की 11.5% बढ़त से थोड़ी अधिक रही. कुल 116.9 मिलियन यात्रियों ने प्रीमियम क्लास में यात्रा की, जो अंतरराष्ट्रीय यात्रियों का लगभग 6% हिस्सा है. एशिया-पैसिफिक क्षेत्र में प्रीमियम यात्राओं में 22.8% की तेज़ वृद्धि देखी गई, लेकिन इसी क्षेत्र में इकॉनमी ट्रैवल 28.6% की दर से और तेजी से बढ़ा.
बोइंग और एयरबस विमानों का दबदबा बरकरार
जहां तक विमानों की बात है, बोइंग और एयरबस के नैरो-बॉडी जेट्स 2024 में भी वैश्विक विमानन की रीढ़ बने रहे. बोइंग 737 ने सबसे अधिक 10 मिलियन उड़ानें भरीं और 2.4 ट्रिलियन Available Seat Kilometres (ASKs) का आंकड़ा हासिल किया. उसके बाद एयरबस A320 रहा, जिसने 7.9 मिलियन उड़ानें और 1.7 ट्रिलियन ASKs दर्ज किए. एयरबस A321 ने भी 3.4 मिलियन उड़ानों और 1.1 ट्रिलियन ASKs के साथ अहम योगदान दिया.