मालदीव के राष्ट्रपति ने कर डाली 15 घंटे की रिकॉर्ड प्रेस कॉन्फ्रेंस, भारत को लेकर मारा यूटर्न

Published on: 05 May 2025 | Author: Mayank Tiwari
मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू ने 500 दिनों से अधिक समय बाद पहली बार प्रेस से मुलाकात की और शनिवार को 15 घंटे की रिकॉर्ड तोड़ प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की. यह मैराथन प्रेस कॉन्फ्रेंस सुबह 10 बजे दो घंटे की प्रस्तुति के साथ शुरू हुई और तीन नमाज के लिए छोटे ब्रेक के साथ रात 12:55 बजे तक चली.
न्यूज एजेंसी एएफपी के अनुसार, राष्ट्रपति कार्यालय ने इसे "राष्ट्रपति के लिए नया विश्व रिकॉर्ड" बताया. मुइज्जू ने अपनी सरकार के विकास परियोजनाओं और प्रगति पर विस्तार से बात की.
द्विपक्षीय समझौतों पर खुलासा
स्थानीय मीडिया के अनुसार, प्रेस कॉन्फ्रेंस में पूर्व प्रशासन द्वारा हस्ताक्षरित द्विपक्षीय समझौतों में "चिंता के मुद्दों" पर चर्चा हुई. मुइज्जू ने कहा कि वह सैन्य समझौतों को सार्वजनिक करने की अपनी प्रतिज्ञा के अनुरूप काम कर रहे हैं, लेकिन गोपनीयता के कारण देरी हो रही है. न्यूज पोर्टल अधाधु.कॉम ने उन्हें कहा, "द्विपक्षीय चर्चाएं चल रही हैं. कोई समस्या नहीं है. हालांकि, मैंने प्रतिज्ञा की थी, इसलिए हम द्विपक्षीय चर्चाओं के माध्यम से खुलासा करने की कोशिश कर रहे हैं. कोई चिंता नहीं है." इस प्रेस कॉन्फ्रेंस ने यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमिर ज़ेलेंस्की के पिछले रिकॉर्ड को तोड़ा.
विपक्ष का कड़ा रुख
मालदीव के राष्ट्रपति मुइज्जू के "कोई समस्या नहीं" वाले बयान पर विपक्ष ने तीखी प्रतिक्रिया दी. मुइज्जू की पार्टी, पीपुल्स नेशनल कांग्रेस (पीएनसी), ने सत्ता में आने से पहले पूर्व मालदीवियन डेमोक्रेटिक पार्टी (एमडीपी) सरकार द्वारा भारत सहित अन्य देशों के साथ किए गए समझौतों पर मालदीव की संप्रभुता को खतरे की बात कही थी. पूर्व विदेश मंत्री और एमडीपी प्रमुख अब्दुल्ला शाहिद ने मुइज्जू की आलोचना करते हुए कहा, "सालों की झूठी बातों के बाद, राष्ट्रपति मुइज्जू ने अब पुष्टि की कि मालदीव और भारत के बीच द्विपक्षीय समझौतों में कोई गंभीर चिंता नहीं है. उन्होंने 2023 के राष्ट्रपति चुनाव में यह दावा करके जीत हासिल की थी कि ये समझौते हमारी संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता को खतरे में डालते हैं.
शाहिद ने एक्स पर पोस्ट किया, "यह नैैरेटिव अब उनके अपने शब्दों में ध्वस्त हो गया है. इसने डर फैलाया, विश्वास तोड़ा और मालदीव की वैश्विक प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाया. मालदीव और भारत के लोगों को माफी और इस नुकसान की गंभीर जवाबदेही चाहिए."
भारत-मालदीव संबंधों में तनाव
नवंबर 2023 में चीन समर्थक मुइज्जू के सत्ता में आने के बाद से भारत और मालदीव के बीच द्विपक्षीय संबंधों में गिरावट आई है. इस प्रेस कॉन्फ्रेंस ने दोनों देशों के बीच तनाव को फिर से उजागर किया है.