दिल्ली में बकरीद को लेकर जारी की सख्त एडवाइजरी, गाय-ऊंट समेत इन जानवरों की कुर्बानी पर लगाई रोक

Published on: 06 Jun 2025 | Author: Princy Sharma
Delhi Bakrid Advisory: दिल्ली में बकरीद का त्योहार नजदीक है, लेकिन इस बार इसे लेकर दिल्ली सरकार ने सख्त कदम उठाए हैं. सरकार ने गाय, ऊंट और अन्य प्रतिबंधित जानवरों की कुर्बानी पर पूरी तरह रोक लगा दी है. एक सख्त एडवाइजरी जारी करते हुए यह भी कहा गया है कि नियम तोड़ने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि कुर्बानी केवल तय किए गए स्थानों पर ही दी जा सकती है. सड़कों, गलियों या किसी भी सार्वजनिक जगह पर कुर्बानी देना अब पूरी तरह प्रतिबंधित कर दिया गया है. इतना ही नहीं, कुर्बानी की तस्वीरें या वीडियो सोशल मीडिया पर शेयर करना भी मना है. अगर किसी ने इन नियमों की अनदेखी की, तो उसके खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जाएगी.
दिल्ली के विकास मंत्री कपिल मिश्रा ने कहा है, 'सरकार हमारी सांस्कृतिक और पर्यावरणीय विरासत की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध है और इसमें पशु कल्याण को सबसे ऊपर रखा गया है. हम बकरीद जैसे त्योहार पर किसी भी तरह की अवैध बलि या पशुओं पर क्रूरता को बर्दाश्त नहीं करेंगे.'
बकरीद पर दिल्ली सरकार की विशेष एडवाइज़री :
— Kapil Mishra (@KapilMishra_IND) June 5, 2025
1. गाय और ऊँट की कुर्बानी की अनुमति नहीं , इसे अपराध माना जाएगा
2. केवल पूर्व निर्धारित स्लॉटर हाउस के अलावा कहीं भी किसी भी पशु की कुर्बानी ग़ैर क़ानूनी
3. सार्वजनिक स्थानों पर कुर्बानी की अनुमति नहीं
4. पुलिस को अवैध… pic.twitter.com/tOVnh9AYsX
कानून और सफाई का रखें पूरा ध्यान
एडवाइजरी में खासतौर पर स्वच्छता और शांति बनाए रखने पर जोर दिया गया है. प्रशासन ने सभी नागरिकों से अपील की है कि वे त्योहार को शांति, स्वच्छता और कानून के दायरे में रहते हुए मनाएं. किसी भी प्रकार का उल्लंघन करने पर पुलिस और प्रशासन की टीमें तुरंत कार्रवाई करेंगी.
इस एडवाइजरी को सचिव-सह-आयुक्त (विकास), डीएम, डीसीपी, एमसीडी आयुक्त समेत सभी संबंधित अधिकारियों को भेजा गया है। उन्हें निर्देश दिए गए हैं कि बकरीद के दौरान पशु कल्याण कानूनों को सख्ती से लागू करें और किसी भी उल्लंघन को नजरअंदाज न करें।
नागरिकों से अपील
सरकार ने लोगों से अपील की है कि अगर कहीं पर नियमों का उल्लंघन होता दिखाई दे तो तुरंत प्रशासन या पुलिस को सूचना दें. इससे त्योहार को शांतिपूर्ण और सुरक्षित तरीके से मनाया जा सकेगा.