सीबीआई की बड़ी कार्रवाई, फर्जी सिम कार्ड जारी करने वाले 39 पीओएस एजेंटों के खिलाफ FIR, KYC फेल होने का देते थे झांसा

Published on: 17 May 2025 | Author: Garima Singh
CBI ghost SIM card scam: केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने फर्जी दस्तावेजों पर 1,100 फर्जी सिम कार्ड जारी करने के मामले में देशभर के 39 पॉइंट ऑफ सेल (पीओएस) एजेंटों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है. यह कार्रवाई राष्ट्रीय अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल पर प्राप्त शिकायतों के विश्लेषण के बाद की गई जांच के आधार पर हुई है.
जांच में खुलासा हुआ कि 1,930 पीओएस एजेंटों ने जाली दस्तावेजों पर 64,223 मोबाइल नंबर बेचे, जिनका उपयोग साइबर अपराधों, खासकर दक्षिण पूर्व एशियाई देशों में, किया गया. इस घोटाले ने राष्ट्रीय सुरक्षा और डिजिटल अपराधों पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं.
फर्जी सिम कार्ड और साइबर अपराध का नेटवर्क
सीबीआई की जांच में पाया गया कि कई पीओएस एजेंट साइबर अपराधियों और कुछ दूरसंचार सेवा प्रदाताओं के अधिकारियों के साथ मिलकर फर्जी सिम कार्ड जारी कर रहे थे. इन सिम कार्डों का उपयोग डिजिटल गिरफ्तारी, प्रतिरूपण, धोखाधड़ी वाले विज्ञापन, निवेश धोखाधड़ी, और यूपीआई धोखाधड़ी जैसी अवैध गतिविधियों में किया गया.
कहां-कहां से हैं आरोपी?
सीबीआई ने 39 पीओएस एजेंटों के खिलाफ कार्रवाई की, जिनमें से नौ उत्तर प्रदेश, 15 पश्चिम बंगाल, सात असम, चार महाराष्ट्र, और एक-एक बिहार, तेलंगाना, तमिलनाडु, और कर्नाटक से हैं. कई अन्य एजेंटों को पहले ही संबंधित राज्य पुलिस ने गिरफ्तार किया है. सीबीआई ने पाया कि अधिकांश फर्जी सिम कार्ड दूरसंचार विभाग (डीओटी) के पुन: सत्यापन और ई-केवाईसी प्रक्रिया में विफल रहे.
साइबर सुरक्षा पर बढ़ता खतरा
यह मामला डिजिटल युग में साइबर अपराधों की बढ़ती चुनौतियों को उजागर करता है. फर्जी सिम कार्डों का उपयोग न केवल व्यक्तिगत धोखाधड़ी बल्कि संगठित अपराधों में भी हो रहा है. जांच एजेंसी अब इस घोटाले के पीछे शामिल अन्य लोगों की तलाश में है ताकि इस तरह की गतिविधियों पर पूरी तरह अंकुश लगाया जा सके.