कर्नल सोफिया कुरैशी विवादित टिप्पणी: MP के मंत्री को सुप्रीम कोर्ट का झटका, हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ याचिका की स्थगित

Published on: 16 May 2025 | Author: Mayank Tiwari
सुप्रीम कोर्ट ने मध्य प्रदेश के कैबिनेट मंत्री कुँवर विजय शाह की याचिका पर सुनवाई को 19 मई 2025 तक स्थगित कर दिया. दरअसल, शाह ने मध्य प्रदेश हाई कोर्ट के उस स्वत: संज्ञान आदेश को चुनौती दी है, जिसमें उनके खिलाफ भारतीय सेना की अधिकारी कर्नल सोफिया कुरैशी के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी के लिए FIR दर्ज करने का निर्देश दिया गया था. कर्नल कुरैशी ने ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान के खिलाफ कार्रवाई की जानकारी मीडिया को दी थी.
जानिए पूरा मामला क्या है?
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, मध्य प्रदेश की बीजेपी सरकार में कैबिनेट मंत्री कुँवर विजय शाह पर आरोप है कि उन्होंने कर्नल सोफिया कुरैशी के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की, जिसमें शाह ने कर्नल सोफिया कुरैशी को 'आतंकवादियों की बहन' कहा था. जिन्होंने ऑपरेशन सिंदूर के बारे में प्रेस को जानकारी दी थी. मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने इस मामले में स्वत: संज्ञान लेते हुए शाह के खिलाफ FIR दर्ज करने का आदेश दिया था. शाह ने इस आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी, जिसकी सुनवाई अब 19 मई को होगी.
Supreme Court adjourns the hearing for May 19 of the plea filed by Cabinet Minister Kunwar Vijay Shah challenging Madhya Pradesh High Court suo motu order for registration of FIR against him for his remarks against Indian Army officer Colonel Sofiya Qureshi who had briefed the… pic.twitter.com/wHr0wst9QV
— ANI (@ANI) May 16, 2025
सुप्रीम कोर्ट का निर्णय
वहीं, सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में दोनों पक्षों के तर्क सुनने के बाद सुनवाई को स्थगित करने का फैसला किया. इस दौरान कोर्ट ने कहा, "हम इस मामले की गंभीरता को समझते हैं और सभी तथ्यों की गहन जांच के बाद निर्णय लेंगे." यह स्थगन कैबिनेट मंत्री कुँवर विजय शाह के लिए अस्थायी राहत के रूप में देखा जा रहा है, लेकिन अंतिम फैसला आना अभी बाकी है.
MP हाई कोर्ट ने शाह के बयान को आपत्तिजनक माना
मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने कर्नल सोफिया कुरैशी को दिए बयान पर आपत्ति जताई. साथ ही इस बयान को बहुत ही आपत्तिजनक माना. हाई कोर्ट ने इस मामले का संज्ञान लेते हुए कहा कि एमपी सरकार में कैबिनेट मंत्री कुंवर विजय शाह की टिप्पणी 'तिरस्कारपूर्ण', 'खतरनाक' और 'नालियों की भाषा' जैसी है.
कोर्ट ने ये भी कहा कि यह टिप्पणी न केवल उस अधिकारी को निशाना बनाती है, बल्कि भारतीय सुरक्षा बलों को भी बदनाम करती है. इसके अलावा हाई कोर्ट ने ये भी कहा कि पहली नजर में मंत्री के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता, 2023 के तहत अपराध बनता है. जहां कोर्ट के आदेश पर एमपी पुलिस ने कैबिनेट मंत्री विजय शाह के खिलाफ बीएनएस की धारा 152, 196(1)(b) और 197(1)(c) के तहत केस दर्ज कर लिया गया है.